भारत में जुलाई महीने में रोज़गार (Jobs) के 1 करोड़ 6 लाख नए अवसरों का सृजन हुआ और ये रोज़गार कृषि (Farming) और कंस्ट्रक्शन (Construction) सेक्टर में दिखा, लेकिन चिंता की बात ये है कि इसी दौरान 32 लाख नौकरियां भी घटी. सेंटर फॉर मॉनिटरिंग
इंडियन इकोनॉमी ने सोमवार को ये जानकारी दी. CMIE के CEO महेश व्यास ने कहा कि जुलाई में भारत में 1.6 करोड़ रोजदार की बढ़ोतरी हुई, लेकिन ये रोज़गार Poor Quality यानि खराब गुणवत्ता के थे. इसमें छोटे व्यापारी और दिहाड़ी मजदूरों के रूप में 1.86 अतिरिक्त लोग काम कर रहे थे और खेती के क्षेत्र में 1.12 करोड़ अतिरिक्त लोगों को रोज़गार मिला.
व्यास ने ये भी कहा कि खेती में रोज़गार बढ़ने का मतलब है कि बुवाई की गतिविधियां बढ़ रही हैं, हालांकि मौसम के आंख मिचौली खेलने की वजह से बुवाई गतिविधियों में इस बार देरी से हुई है और इसमें पिछले साल की तुलना में पांच फीसदी से ज्यादा की गिरावट देखने को मिली है.उन्होंने ये भी बताया कि कंस्ट्रक्शन सेक्टर में भी 54 लाख अतिरिक्त लोगों को रोज़गार मिला है लेकिन मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर में महज़ पांच लाख लोगों को अतिरिक्त रोज़गार मिला है.
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